उत्तराखंड: अवैध दवा के धंधे के खिलाफ कब-कब हुई कार्यवाई

Uttarakhand: How often took action against illegal drug trade

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Picture: Pixabay

देहरादून, जेएनएन। गत वर्ष उत्तर प्रदेश के खाद्य और औषधि प्रसाधन विभाग ने एक डाटा जारी किया था। जिसमें कहा गया था कि उप्र में दो साल में पकड़े गए नकली और घटिया दवा के कुल 492 मामलों में सर्वाधिक 162 मामले उत्तराखंड की कंपनियों के थे।

औषधि नियंत्रक ताजबर सिंह जग्गी का कहना है कि लगातार मामले पकड़े गए हैं, जिन पर कोर्ट में सुनवाई चल रही है। जहां तक स्टाफ की कमी की बात है, यह समस्या भी जल्द दूर हो जाएगी।

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कब-कब पकड़े मामले

– 22 अगस्त को माधोपुर में वीआर फार्मा कंपनी से औषधि नियंत्रण विभाग की टीम ने छापा मारकर करीब 2 करोड़ रुपये कीमत की नकली दवाएं बरामद कीं।

– 27 जून को औषधि नियंत्रण विभाग की टीम छापा मारकर पांच लाख की नकली दवाएं बरामद की थीं।

– 2 मार्च को चुड़ियाला स्थित फैक्ट्री में छापा मारकर 25 लाख कीमत की नकली दवाएं बरामद की गईं।

– 11 जुलाई, 2019 को सुनहटी आलापुर स्थित एक दवा कंपनी में बड़े स्तर पर अनियमितताएं पाई गईं।

– 20 सितंबर, 2018 को मोहनपुरा में औषधि नियंत्रण विभाग की टीम ने छापा मारकर तीन को गिरफ्तार किया और 13 पेटी नकली दवाएं बरामद कीं।

– 8 सितंबर, 2018 को अमरोहा (उत्तर प्रदेश) की औषधि नियंत्रण विभाग की टीम ने सलेमपुर में छापा मारकर दवा की दो फैक्ट्री और दो गोदाम पकड़े थे। यहां से करीब तीन करोड़ की नकली दवाएं और मशीनें बरामद की गई थीं।

– 21 अगस्त, 2017 को भगवानपुर के मक्खनपुर स्थित एक कंपनी से नकली दवाओं की 50 पेटी बरामद की गई थीं।

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